Gyan--ganga..!
जीवत समझो जीवत बूझो जीवत मुक्ति निवास..!
मुए मुक्ति कहे गुरु लोभी झूठा दे विश्वासा..!!
...अर्थात..जीते जी ही मुक्ति इस शरीर में निवास करती है..इसको जीवित रहते ही समझना और जानना चाहिए..! मर जाने पर मुक्ति मिलाती है ऐसा कहनेवाले गुरु लोभी --गुरु है और ऐसा झूठ--मुठ में ही विशवास दिलाते है...!!
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